

किसानों को समृद्ध बनाने के लिए नित नए कदम उठा रही सरकार : डीएम
राकेश वर्मा
लखीमपुर खीरी (संज्ञान न्यूज़)। किसानों की समस्याओं के त्वरित निस्तारण के उद्देश्य से बुधवार को कलेक्ट्रेट सभागार में प्रभारी डीएम अनिल कुमार सिंह की अध्यक्षता में किसान दिवस का आयोजित हुआ। इस दौरान किसानों ने अधिकारियों के सामने समस्याएं रखीं। डीएम ने अफसरों को किसानों की समस्याओं का समय से व गुणवत्तापरक निस्तारण कराने का निर्देश दिया।
प्रभारी डीएम अनिल कुमार सिंह ने कहा कि किसानों की समस्याओं का निदान शासन की सर्वोच्च प्राथमिकता है। किसानों के हितों को संरक्षित करने के लिए शासन-प्रशासन करते संकल्पित होकर काम कर रहा है। इसके लिए केंद्र एवं प्रदेश सरकार किसानपरक योजनाओं के जरिए उन्हें समृद्ध बनाने के लिए नित नए कदम उठा रही है। किसान प्रण करें जिम्मेदारी से न केवल पौधरोपण करें बल्कि कर उसकी देखभाल का भी जिम्मा उठाएं।


डीएम ने किसानों को नैनो यूरिया के अधिक से अधिक प्रयोग करने का आह्वाहन किया। नैनो यूरिया का प्रयोग पर्यावरण के लिए लाभदायक है तथा मानव स्वास्थ्य के लिए भी फायदेमंद है। निर्देशित किया कि किसान दिवस के भांति विकास खण्ड स्तर पर भी महीने में एक दिन निर्धारित करके किसानों की समस्याओं का समाधान करने हेतु किसान दिवस आयोजित किया जाए।
उपस्थित अधिकारियों द्वारा विभाग से सम्बंधित योजनाओं एवम तकनीकी जानकारी भी किसानों को दी गयी।उप कृषि निदेशक अरविन्द मोहन मिश्र ने कृषकों को अवगत कराया कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजनान्तर्गत जो किसान अभी तक लाभ से छूटे है वह अपना रजिस्ट्रेशन कराकर 13 जून से 23 जून, 2023 तक तहसील स्तर पर कैम्प चलाये जा रहे अभियान में आधार कार्ड, खतौनी तथा घोषणा पत्र आदि अभिलेख जमा कर दें, जिससे प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना का लाभ प्राप्त होना प्रारम्भ हो जाए।
डीएचओ मृत्युंजय सिंह ने कृषकों को अवगत कराया कि उद्यान विभाग में दो कार्यक्रमों में फलदार पौधे अमरूद, करौंदा, सहतूत आदि फलदार वृक्ष उपलब्ध है। डिमांण्ड देकर निःशुल्क वृक्ष प्राप्त कर सकते है। जिला कृषि अधिकारी अरविन्द कुमार चोधरी ने कृषकों को अवगत कराया कि जनपद में समस्त राजकीय कृषि बीज भण्डारों पर धान के बीज उपलब्ध है। जनपद में नैनों यूरिया और नैनो डीएपी उपलब्ध है का प्रयोग किसान भाई अवश्य करें।
कृषि रक्षा अधिकारी सत्येन्द्र सिंह ने कृषकों को अवगत कराया कि कृषक भाई खरीफ फसलों में बीज शोधन अवश्य करें, धान की फसल में कार्बेन्टाजिम 50 प्रतिशत डब्लूपी 2 ग्राम अथवा थीरम 2.5 ग्राम प्रति किग्रा0 बीज की दर से तथा जीवाणु झुलसा हेतु स्ट्रेप्टोमाइसीन सल्फेट 90 प्रतिशत टेट्रासाइक्लीन हाइट्रोक्लोराइड 10 प्रतिशत 4 ग्राम, 25 किग्रा बीज की दर से बीज शोधन करें तथा मक्का, ज्वार एवं बाजरा में कार्बेन्डाजिम 50 प्रतिशत डब्लू0पी0 2 ग्राम प्रति किग्रा0 बीज की दर से बीज शोधन करें। अधिक तापमान के कारण धान की नर्सरी में पानी बदलते रहे तथा खैरा रोग से बचाव के लिए 5 किग्रा जिंक सल्फेट, 02 प्रतिशत यूरिया के घोल में मिलाकर प्रति हे0 तथा सफेदा रोग के नियंत्रण के लिए 5 किग्रा फेरस सल्फेट 2 प्रतिशत यूरिया के घोल में मिलाकर प्रति हे0 की दर से छिड़काव करें। कीटों के नियंत्रण के लिए 1.5 ली0 क्लोरफाइरीफास 20 प्रतिशत ईसी प्रति हे0 की दर से छिड़काव करें।
बैठक में डीडी कृषि अरविन्द मोहन मिश्र, जिला कृषि अधिकारी अरविंद कुमार चौधरी, कृषि रक्षा अधिकारी सत्येन्द्र सिंह, भूमि संरक्षण अधिकारी (गोमती) सुभाष चन्द्र, उप सम्भागीय कृषि प्रसार अधिकारी निखिल देव तिवारी, जिला उद्यान अधिकारी मृत्युंजय सिंह, जिला विकास प्रबन्धक नाबार्ड प्रसून सोनार,सहायक निदेशक मत्स्य एस0के0 यादव, अध्यक्ष/वरिष्ठ वैज्ञानिक केवीके डा0 निरंजन लाल, कृषि वैज्ञानिक डा. पीके बिसेन, पीके शुक्ला, सहायक आयुक्त एवं सहायक निबन्धक सहकारिता अन्य अधिकारी एवं कृषक उपस्थित रहें।