घनश्याम/ धर्मेश शुक्ल
लखीमपुर खीरी (संज्ञान न्यूज) एक पुरानी कहावत नौ दिन चले अढाई कोस वाली कहावत चरितार्थ कर रहे हैं चीनी मिल के जिम्मेदार।बीती 25 नवंबर को नवीन पेराई सत्र का हुआ था शुभारंभ।किसानों को गन्ना सप्लाई करने के लिए पर्चियां तो नहीं मिली लेकिन दूसरे दिन तकनीकी खराबी के चलते मिल बंद है की सूचना जरूर मिल गई।सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार मिल की मरम्मत के दौरान कागजों में खरीदी गई सॉफ्ट मिल चलते ही टूट गई हैं।बेलरायां चीनी मिल के जिम्मेदारों की खाऊ-कमाऊ नीति के चलते क्रेसर व कोल्हू स्वामी हो रहे मालामाल।पेराई सत्र शुरू होने के बाद भी नहीं चल पा रही हैं चीनी मिल।
आखिर कौन है इसका जिम्मेदार।
चीनी मिल के किसान या मिल के अधिकारी।
कौन देगा जवाब